जेम्स वेब स्पेस टेलिस्कोप की वाष्प के रूप में पानी की खोज

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जेम्स वेब स्पेस टेलिस्कोप की वाष्प के रूप में पानी की खोज

किसी दूसरे ग्रह की तलाश में अब एक ऐसा ग्रह खोज निकाला है, जिसके वातावरण में जल वाष्प है। जीवन के लिए पानी बेहद जरूरी है। जिस कारण जब भी किसी पानी वाले वाले ग्रह का पता चलता है तो जीवन की संभावना भी बढ़ जाती हैं। इस ग्रह को लेकर भी यही हुआ है। मगर इस ग्रह का तापमान इतना अधिक है कि वहा मानव जैसे बुद्धिमान प्राणी की कल्पना की कल्पना शून्य हो जाती है। मगर यह भी नही कह सकते कि उस ग्रह पर जीवन ना हो। मानव जैसा ना हो, लेकिन किसी दूसरे रूप में तो होने की संभावना से इंकार नही किया जा सकता है। खास बात यह है कि यह खोज अंतरिक्ष में स्थापित जेम्स वेब स्पेस टेलिस्कोप JWST द्वारा हुई है।

जीजे 486 बी लाल बौना तारे का ग्रह है

जिस तारे का यह ग्रह चक्कर काट रहा है, उसका नाम जीजे 486 बी है। यह लाल बौना तारा है। पृथ्वी से 26 प्रकाश-वर्ष दूर है। यह भी खास है कि इसके चट्टानी होने का पता चला है। एनएएसए के वेब स्पेस टेलीस्कॉप को इस ग्रह पर जल वाष्प के लिए अस्थायी सबूत मिले हैं, लेकिन यह अभी तक ज्ञात नहीं है कि जल वाष्प ग्रह के वायुमंडल में है या तारे पर स्टारस्पॉट में है। इस बारे में अध्ययन जारी हैं।

26 प्रकाशवर्ष दूर है यह ग्रह

अब तक खोजे गए तमाम ग्रह पृथ्वी से बहुत बड़े ग्रह हैं, जो नेपच्यून या सुपर-ज्यूपिटर से बढ़े हैं।
1 मई, 2023 को, यू.एस. और यू.के. के शोधकर्ताओं ने बताया कि उन्होंने एक चट्टानी ग्रह के वातावरण में जल वाष्प की पहचान की है। यह ग्रह लाल बौने तारे की परिक्रमा कर रहा है। उन्होंने 26 प्रकाश-वर्ष दूर से अवलोकन करने के लिए वेब स्पेस टेलीस्कोप का उपयोग किया।

10 मई को एस्ट्रोफिजिकल जर्नल में प्रकाशित होने जा रहा है शोध

10 अप्रैल, 2023 को नए द एस्ट्रोफिजिकल जर्नल लेटर्स में यह शोध प्रकाशित होने जा रहा है। इस शोध को प्रकाशन के लिए स्वीकार कर लिया गया है। यह ग्रह, GJ 486 b, चट्टानी है, पृथ्वी से लगभग 30% घना और तीन गुना विशाल है। खगोलविद इसे सुपर-अर्थ बता रहे हैं। यह अपने तारे के बहुत करीब परिक्रमा करता है, केवल 1.5 दिनों में एक परिक्रमा पूरी करता है। इसलिए, दुर्भाग्य से, 800 डिग्री फ़ारेनहाइट (430 सी) के अनुमानित तापमान के साथ, यह जीवन की तलाश के लिए एक अच्छी जगह नहीं है। वैज्ञानिकों का कहना है कि यह संभवतः टाइडली लॉक भी है, इसलिए यह हमेशा अपने तारे के सामने एक ही तरफ रखता है।

श्रोत व फोटो: नासा / ईएसए / सीएसए / जोसेफ ओल्मस्टेड (एसटीएससीआई) / लिआह हस्ताक (एसटीएससीआई) के माध्यम से।


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